आंखें हिंदी शायरी - hindi shayari on eyes
hindi shayari on eyes : दोस्तों बहुत सारी शायरियां तो बोली जाती है पर आज हम आपके साथ जो शायरियां शेयर करने वाले हैं वह काफी दिलचस्प शायरियां है क्योंकि यह शायरियां आंखों के लिए शायरियां है आपने बहुत सारे लोगों को आंखों के लिए शायरियां करते हुए सुना होगा क्योंकि आंखें इतनी नशीली होती है कि बहुत सारे सायर को आंखों पर शायरी बोलना काफी पसंद होता है और यह शायरियां भी काफी अच्छी बनती है तो आ जाऊं आपके साथ कुछ ऐसे ही आंखों पर शायरियां शेयर करने वाले हैं जो काफी दिलचस्प है वह हमें उम्मीद है कि आपको यह हिंदी शायरियां पसंद आएगी
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hindi shayari on eyes |
तो यहां पर हमने hindi shayari on eyes आपके साथ शेयर की है तो हम उम्मीद करते हैं कि आपको यह आंखों की शायरी पसंद आएगी क्योंकि इस पोस्ट में हमने 23 से ज्यादा का आंखों की शायरी हिंदी में 2020 में कलेक्शन बनाया है जहां पर हम तेरे से ज्यादा hindi shayari on eyes आपके साथ शेयर की है जो काफी दिलचस्प है
1. कभी शर्म की तस्वीर कभी मोहब्बत का पैगाम देती है, आशिकों के दिल पर ज़ख्म हज़ार करती है, अगर चाहे कोई चाहत को लाख छुपाना,आँखें वही हाल ऐ दिल बयान करती हैं.
2. छुप छुप के देखना अच्छा लगता हैदिल की धड़कन में उनको सुनना अच्छा लगता है,लफ्ज़ होठों पर लाने की ज़रुरत नहीं, आँखों आँखों में बाते करना अच्छा लगता है.
3. दिल की बातें,बता देती है आखें,धडकनों को जगा देती हैं ऑंखें,दिल पर चलता नही जादू,चेहरों का कभी,दिल को तो,दीवाना बना देती हैं ऑंखें.
4. आँखों में आंसुओं की लकीर बन गई;जैसी चाहिए थी वैसी तकदीर बन गई;हमने तो सिर्फ रेत में उंगलियाँ घुमाई थी;गौर से देखा तो आपकी तस्वीर बन गई.
5. तेरी आँख से आंसू चुरा लेंगे;तेरा हर गम बिना जताये उठा लेंगे;नज़र ना लग जाये तुम्हें किसी की अय दोस्त;कुछ इस तरह से तुम्हें अपने दिल में हम छुपा लेंगे.
6. कुछ बातें हमसे सुना करो,कुच बातें हमसे किया करो,मुझे दिल की बात बता डालो,तुम होंठ ना अपने सिया करो,जो बात लबों तक ना आऐ,वो आँखों से कह दिया करो.
7. जब भी चूम लेता हूँ इन हसीन आँखों को,सौ चिराग अंधेरे में झिलमिलाने लगते हैं,फूल क्या, चाँद क्या, सितारे क्या,सब रक़ीब कदमों पर सर झुकाने लगते हैं.
8. तेरी आँखों की नमकीन मस्तियाँ, तेरी हंसी की बेपरवा गुस्ताखियाँ, तेरी जुल्फों की लहराती अंगडाइयां नहीं भूलूंगा मैं,जब तक है जान, जब तक है जान.
9. हम से जाओ न बचाकर आँखें,यूँ गिराओ न उठाकर आँखें,ख़ामोशी दूर तलक फैली है,बोलिए कुछ तो उठाकर आँखें,अब हमें कोई तमन्ना ही नहीं,चैन से हैं उन्हें पाकर आँखें,मुझको जीने का सलीका आया,ज़िन्दगी तुझसे मिलाकर आँखें.
10. आँखों की भाषा पढना सीखो, खामोशी को चुपके से सुनना सीखो, शब्द बिना बोले लब से,जुबां की भाषा समझना सीखो.
11. गिरके ना ये फिर संभल जाए
उल्फत में जान निकल जाए
रूह का दीपक तो जला
ये जिस्म चाहे पिघल जाए
मर्जी हो तेरी तो आ जाओ
मेरा आशियां ये बदल जाए
कश्ती समंदर में कैसे रूके
किनारे से जो फिसल जाए
12. तुम्हारे जिस्म की खुशबू गुलों से आती है
ख़बर तुम्हारी भी अब दूसरों से आती है
हमीं अकेले नहीं जागते हैं रातों में
उसे भी नींद बड़ी मुश्किलों से आती है
13. हमारी आँखों को मैला तो कर दिया है मगर
मोहब्बतों में चमक आँसुओं से आती है
इसीलिए तो अँधेरे हसीन लगते हैं
कि रात मिल के तेरे गेसुओं से आते हैं
ये किस मक़ाम पे पहुँचा दिया मुहब्बत ने
कि तेरी याद भी अब कोशिशों से आती है
14. दिल है हीरे की कनी, जिस्म गुलाबों वाला
मेरा महबूब है दरअस्ल किताबों वाला
हुस्न है - रंग है - शोख़ी है - अदा है उसमें
एक ही जाम मगर कितनी शराबों वाला
15. जिस्म और जान जुदा हो गए आज ,
वो मेहँदी के रंग में खो गए आज ,
हमने चाहा जिसे सीदत से ,
वो उम्र भर किसी और के हो गए आज
16. जिस्म है शीशे का पत्थर का जिगर रखते हैं
इसलिए तो हम तुम्हारे ऊपर मरते हैं
17. खून का हर क़तरा जिस्म में कहता है तुम्हे भुला दूं
मगर यह दिल आज भी कहता है की मुझे तुम से मोहब्बत है
18. जिस्म की दरारो से रूह तक नजर आने लगी...
बहोत अंदर तक तोड गया है इश्क तेरा....
19. मिट्टी का जिस्म लेके पानी के घर मे हूँ मन्ज़िल है मौत मेरी
मै हर पल सफर मे हूँ होना है क़त्ल ये मालुम है मुझे लेकिन खबर
नही किसी की नज़र मे हूँ
20. जला है जिस्म जहाँ दिल भी जल गया होगा
कुरेदते हो जो अब राख जुस्तुजू क्या है...
21. आस्था का जिस्म घायल , रूह तक बेजार है
क्या करे कोई दुआ जब देवता बीमार है
खूबसूरत जिस्म हो या सौ टका ईमान हो
बेचने की ठान लो तो हर तरफ बाज़ार है..
22. वो कौन है जो अब तलक मेरी नजर में है ।
ये जिस्म तो क्या रूह तक उसके असर में है ।।
23. ""तुम्हे जिन्दगी से शिकायत बहुत है..मगर मौत भी बेरहम कम नहीं...
जिन्हें जिस्म ढकना मुनासिब नहीं..यही मौत उनसे कफ़न मांगती है…
24. ये लडकियों के बाल
है लडको को फ़साने के जाल
चूस लेती है खून जिस्म का सारा
इसी लिए होते है इनके होठ लाल
25. वक़्त का मुझे कोई होश नही
जिस्म मे मेरे कोई जोश नही
तरसाते हो तुम तनहाई मे
और कहते हो ‘मेरा कोई दोष नही’
26. लहू लोहान करने के इरादे था तीर चलाया उसने
अपने हुस्न का जहर मेरे ज़िस्म मे फैलाया उसने
छोड चुके थे उम्मीद उनको हमसफर बनाने की
बेवफाई का इलज़ाम दे के कब्र मे है सुलाया उसने
तो आपको ही हो hindi shayari on eyes कलेक्शन ऑफ 2020 कैसा लगा वह हमें कमेंट करके जरूर बताइएगा और आपका फीडबैक हमें दीजिएगा क्योंकि इस कलेक्शन में कुछ गलतियां हो तो हम वह सुधार सकें अगर आपका कोई सजेशन है तो वह हमें आप कमेंट में बता सकते हैं और आपसे एक निवेदन है कि इस पोस्ट को आप अपने सोचेंगे यह प्लेटफार्म पर जरूर शेयर करें क्योंकि इस कलेक्शन को बनाने के लिए हमें काफी समय और मेहनत लगे हैं अगर आप इस पोस्ट को शेयर करेंगे तो हमारा काम करने का मोटिवेशन और ज्यादा होगा और हम यहां पर और ज्यादा हिंदी शायरियां आपके लिए शेयर करेंगे जो आपको भी काफी यूज़फुल रहेगी तो आपका कीमती समय हमारे इस ब्लॉग वेबसाइट को देने के लिए आपका खूब-खूब धन्यवाद